Read more about the article जोधपुर राज्य का इतिहास – History of jodhpur state
जोधपुर राज्य का इतिहास

जोधपुर राज्य का इतिहास – History of jodhpur state

जोधपुर राज्य का राजघराना विख्यात राठौड़-वंश के हैं। राठौड़ वंश अत्यन्त ही प्राचीन है। राठौड़ वंश की उत्पत्ति के लिये भिन्न भिन्न इतिहासवेत्ताओं के भिन्न भिन्न मत हैं। राठौडों की ख्यात के लिखा है--इन्द्र की रहट (रीढ़ ) से उत्पन्न होने के कारण ये राठौड़ कहलाये। कुछ लोगों का कथन है कि उनकी कुल-देवी का नाम राष्ट्रश्यैना या राठाणी है, इसी से उनका नाम…

Continue Readingजोधपुर राज्य का इतिहास – History of jodhpur state
Read more about the article महाराजा उम्मेद सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा उम्मेद सिंह जोधपुर

महाराजा उम्मेद सिंह का इतिहास और जीवन परिचय

महाराजा सुमेर सिंह जी के कोई पुत्र न था अतएवं आपके भाई महाराजा उम्मेद सिंह जी जोधपुर की गद्दी पर सिंहासनारूढ़ हुए। सिंहासन पर बैठते समय आपकी भी अवस्था केवल 16 वर्ष की थी। अतएवं फिर तीसरी वक्त कौन्सिल आफ़ रीजेन्सी की स्थापना हुई। फिर भी महाराजा प्रताप सिंह जी ही कौन्सिल के प्रेसिडेन्ट मुक़़र्र हुए। महाराजा उम्मेद सिंह का इतिहास महाराजा उम्मेद सिंह…

Continue Readingमहाराजा उम्मेद सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article महाराजा सुमेर सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा सुमेर सिंह जोधपुर

महाराजा सुमेर सिंह का इतिहास और जीवन परिचय

महाराजा सरदार सिंह जी के स्वर्गवासी होने के पश्चात्‌ महाराजा सुमेर सिंह जी जोधपुर के राज्यासन पर बिराजे। जिस समय आप गद्दीनशीन हुए उस समय आपकी अवस्था केवल 14 वर्ष की थी, अतएव मारवाड़ राज्य में फिर दुबारा रिजेंसी बैठने का अवसर आया। इस रिजेंसी के प्रेसिडेन्ड महाराजा प्रताप सिंह जी नियुक्त हुए। महाराजा सुमेर सिंह का इतिहास और जीवन परिचय महाराजा सुमेर…

Continue Readingमहाराजा सुमेर सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article महाराजा मानसिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा मानसिंह जोधपुर

महाराजा मानसिंह का इतिहास और जीवन परिचय

महाराजा भीम सिंह जी के बाद सन् 1804 में महाराजा मान सिंह जी गद्दी पर बिराजे। आप महाराजा भीम सिंह जी के भतीजे थे। युवावस्था में आपको अनेक विपत्तियों का सामना करना पड़ा था । एक समय तो भीम सिंह जी के भय से मारवाड छोड़ने की नौबत आई थी। जिस समय आप गद्दी पर बिराजे उप समय महाराजा भीम सिंह जी की एक…

Continue Readingमहाराजा मानसिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article महाराजा अभय सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा अभय सिंह जोधपुर

महाराजा अभय सिंह का इतिहास और जीवन परिचय

सन् 1724 में अभय सिंह जी जोधपुर राज्य की गद्दी पर बिराजे। गद्दी पर बैठते समय आपको बादशाह महमदशाह की ओर से राज राजेश्वर की पदवी मिली। नागोर की जागीर इस समय अमर सिंह जी के पौत्र इन्द्र सिंह जी के अधिकार में थी। पर इस समय से वह भी बादशाह ने अभय सिंह जी को दे दी। महाराजा अभय सिंह जी ने नागोर बखत…

Continue Readingमहाराजा अभय सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article महाराजा अजीत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा अजीत सिंह राठौड़ मारवाड़

महाराजा अजीत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय

महाराजा जसवंत सिंह जी की मृत्यु के समय उनकी जादमजी ओर नारुकीजी नामक दो रानियाँ गर्भवती थीं। अतएव कुछ समय बाद उक्त दोनों रानियों से क्रमशः अजीत सिंह जी और दलथम्भन सिंह जी नामक पुत्रों का जन्म हुआ। पर औरंगजेब ने यह कहकर कि उक्त राजपुत्र राज्य के वास्तविक अधिकारी नहीं हैं। मारवाड़ की रियासत को जब्त कर इसके प्रतिवाद-स्वरूप राठौड़ सरदारों ने काबुल…

Continue Readingमहाराजा अजीत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article महाराजा जसवंत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
महाराजा जसवंत सिंह राठौड़ मारवाड़

महाराजा जसवंत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय

सन् 1638 में महाराजा जसवंत सिंह जी मारवाड की गददी पर विराजे। आपका जन्म सन् 1626 में बुरहानपुर नामक नगर में हुआ था। राज्य-गद्दी पर बैठने के समय आपकी उम्र 12 वर्ष की थी। सम्राट आप पर बड़ा अनुग्रह करते थे। गद्दी पर बैठ जाने के बाद पांच हजारी मनसबदार की इज्जत आपको मिली। काबुल के युद्ध में सम्राट आपको साथ ले गये थे।…

Continue Readingमहाराजा जसवंत सिंह का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article राव उदय सिंह राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय
राव उदय सिंह राठौड़ मारवाड़

राव उदय सिंह राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय

राव उदय सिंह राठौड मारवाड़ के राजा थे, इनका जन्म 13 जनवरी 1538 को जोधपुर में हुआ था। यह राव मालदेव के पुत्र और राव गंगा जी के पौत्र थे। राव मालदेवजी का स्वर्गवास हो जाने पर चन्द्रसिंह जी मारवाड़ की गद्दी पर बिराजे। इनके बाद सन् 1584 में राव उदय सिंह राठौड़ जी सिंहासनारूढ़़ हुए। आपने अपनी लड़की का विवाह शाहज़ादा सलीम से और…

Continue Readingराव उदय सिंह राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article राव रणमल का इतिहास और जीवन परिचय
राव रणमल राठौड़

राव रणमल का इतिहास और जीवन परिचय

राव रणमल जी, राव चूडाजी के ज्येष्ठ पुत्र थे। एक समय राव चूडाजी ने इनसे कह दिया था कि 'मेरे बाद मंडोर कान्ह के अधिकार में रहना चाहिये। कान्ह चूडाजी के छोटे पुत्र थे। अपने पिता को आज्ञानुसार रणमलजी मंडोर को अपने छोटे भाई के हाथ सौंप है और आप चित्तौड़ चल गये। चित्तौड़ की गद्दी पर इस समय राणा लाखा जी आसीन थे। इन्होंने…

Continue Readingराव रणमल का इतिहास और जीवन परिचय
Read more about the article राव जोधा राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय
राव जोधा जी राठौड़

राव जोधा राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय

राव रणमल जी के 26 पुत्र थे। इन सब में राव जोधा जी बड़े थे। राव जोधा जी बड़े वीर और पराक्रमी राजा थे। काहुनी नामक स्थान से मन्डोर को प्राप्त करने के लिये आपने उस पर कई आक्रमण किये पर सब विफल हुए। इसी बीच एक समय रावजी किसी जाट के मकान में चले गये। जाट वहां न था। जोधा जी ने उसकी…

Continue Readingराव जोधा राठौड़ का इतिहास और जीवन परिचय