Skip to content
Alvitrips – Tourism, History and Biography
Alvitrips – Tourism, History and Biography
  • Home
  • Biography
    • प्रसिद्ध खिलाड़ी
    • सहासी नारियाँ
    • हमारे संत महात्मा
    • प्रमुख वैज्ञानिक
  • Subject
    • तीर्थ स्थल
    • हिल स्टेशन
    • ऐतिहासिक धरोहर
    • राष्ट्रीय उद्यान
    • हनीमून डेस्टिनेशन
    • बीच डेस्टिनेशन
    • द्वादश ज्योतिर्लिंग
    • ऐतिहासिक गुरूद्वारे
    • स्पोर्ट्स एंड एडवेंचर
  • State tourism
    • राजस्थान पर्यटन
    • हिमाचल प्रदेश पर्यटन
    • हरियाणा पर्यटन
    • केरल पर्यटन
    • जम्मू कश्मीर पर्यटन
    • उत्तर प्रदेश पर्यटन
    • महाराष्ट्र पर्यटन
    • तमिलनाडु पर्यटन
    • गुजरात पर्यटन
    • आंध्रप्रदेश पर्यटन
    • कर्नाटक पर्यटन
    • पश्चिम बंगाल पर्यटन
    • छत्तीसगढ़ पर्यटन
    • बिहार पर्यटन
    • मध्यप्रदेश पर्यटन
    • उडीसा पर्यटन
    • उत्तराखंड पर्यटन
    • झारखंड पर्यटन
    • शक्तिपीठ देवीयाँ
  • Pages
    • तीर्थ यात्रा का महत्व
    • भारत का परिचय
    • About Us
    • Submit a post
Alvitrips – Tourism, History and Biography
हेलियोडोरस स्तंभ बेसनगर

हेलियोडोरस स्तंभ – हेलियोडोरस का बेसनगर अभिलेख

Naeem Ahmad, March 29, 2023

हेलियोडोरस स्तंभ भारत के मध्य प्रदेश के विदिशा जिले में आधुनिक बेसनगर के पास स्थित पत्थर से निर्मित प्राचीन स्तम्भ है। इसका निर्माण ११० ईसा पूर्व हेलिओडोरस ने कराया था।हेलियोडोरस प्राचीन भारत का यूनानी राजनयिक था। वह पांचवें शुंग राजा काशीपुत भागभद्र के राज्य काल के चौदहवें वर्ष में तक्षशिला के यवन राजा एण्टिआल्कीडस (140-130 ई.पू.) का दूत बनकर विदिशा आया था। हेलियोडोरस यवन होते हुए भी भागवत धर्म का अनुयायी हो गया था। उसने भगवान विष्णु का एक ‘गरुड़ स्तम्भ’ बनवाया था, जिसे हेलियोडोरस स्तंभ’ भी कहा जाता है। यह सारी सूचना उक्त स्तम्भ पर अंकित है, जिससे प्रकट होता है कि हेलियोडोरस को महाभारत का परिचय था।

 

हेलियोडोरस स्तंभ जिसकी संसार के सर्व प्रसिद्ध स्मारकों में इस स्तम्भ की गणना की जाती है क्योंकि यह ने केवल वैष्णव धर्म का प्राचीनतम एक अक्षुण्य स्मारक है अपितु एक यवन राजदूत द्वारा वैष्णव धर्म स्वीकार करने का उदाहरण भी है।

 

विदिशा-अशोकनगर मार्ग पर विदिशा से तीन किलोमीटर की दूरी पर प्राचीन विदिशा नगर के बाहर, बेस नदी के तट पर तथा टिला नामक छोटे गाँव के निकट तथा आधुनिक बेसनगर के पास यह स्तम्भ अपने मूल स्थान पर स्थित है। इसे यहां के निवासी खामबाबा के नाम से जानते है तथा इसकी पूजा भी करते हैं। यदाकदा कुछ लोग बकरे की बलि भी चढ़ाते हैं।

 

Contents

  • 1 हेलियोडोरस स्तंभ को खामबाबा क्यों कहते हैं
    • 1.1 हेलियोडोरस स्तंभ पर उत्कीर्ण अभिलेख तथा अनुवाद
  • 2 हमारे यह लेख भी जरूर पढ़े:—

हेलियोडोरस स्तंभ को खामबाबा क्यों कहते हैं

 

मार्शल के समय में हेलिओडोरस स्तम्भ के निकटवर्ती टीले पर खामबावा का पुजारी प्रतापपुरी गोसाई था, जो यहां के पुजारी हीरापुरी की तीसरी पीढी का था। हीरापुरी सन्यासी था, जो खामबाबा को मदिरा समर्पित करता था। भण्डारकर ने इस हेलियोडोरस स्तंभ की पूजा प्रारम्भ होने के विषय में लिखा है कि एक बार एक महत्वशाली व्यक्ति अपनी सेना के साथ सन्यासी हीरापुरी के स्थान पर आया, सन्यासी ने उस व्यक्ति से सदैव के लिये अपने साथ रहने की प्रार्थना की। आगंतुक हीरापुरी के आतिथ्य से इतना प्रसन्न हुआ कि उसने हीरापुरी की प्रार्थना स्वीकार कर ली तथा स्वयं को खामबाबा में परिवर्तित कर लिया। स्तम्भ की पूजा प्रायः भोई अथवा ढीमर जाति के लोग करते है क्योंकि उनका विश्वास है कि खामबाबा मौलिक रूप से उन्हीं की जाति का था। इसके प्रमाण में वह मकर स्तम्भ शीर्ष को, जो उस समय यही पर था, खामवाबा का रूप धारण करने के पूर्व ढीमर द्वारा पकड़ी हुई मछली समझते हैं। ढीमर ने जब खामबाबा का रूप धारण किया, मकर ने भी स्वयं को पत्थर में परिवर्तित कर लिया। यही कारण हैं कि इस स्तंभ पर उस समय तेल मिश्रित गेंहू आदि का गहरा लेप था। वस्तुतः यह खंभ (स्तंभ) बाबा आधुनिक शब्द है।

 

हेलियोडोरस स्तंभ बेसनगर
हेलियोडोरस स्तंभ बेसनगर

 

ग्वालियर राज्य के समय में इस स्तम्भ के चारों ओर एक चबूतरा बना दिया गया था क्योंकि इसकी नींव के एक चतुर्थ भाग के उत्खनन से यह स्पष्ट हो गया था कि स्तम्भ एक ओर को थोड़ा सा झुका है। चबूतरे के ऊपर का भाग 5 मीटर ऊंचा है। यह भूरे गुलाबी स्फटिक बालुकाश्म का बना है तथा ऊपर की ओर शुण्डाकार है, जहां गरूड़ स्तम्भ शीर्ष शोभित था। स्तम्भ तथा क्षीर्ष अलग-अलग एकाश्म है। इसके अष्टाभुजी भाग पर द्वितीय शताब्दी ई० पू० के दो अभिलेख हैं। इसका ऊपरी भाग क्रमशः सोडप तथा बत्तीस भुजी है व सर्वोपरि भाग गोल है। इसी प्रकार के एक अन्य गरुड़ध्वज की स्थापना सम्बन्धी अभिलेख वर्तमान विदिशा की एक गली से प्राप्त हुआ था। सम्भवतः यह अभिलेख भी हेलियोडोरस स्तंभ के समकालीन अन्य सात स्तम्भों का एक भाग रहा हो।

 

हेलियोडोरस स्तंभ के पार्श्व में जिस टीले पर पुजारी का मकान था, उसके नीचे अनगढ़ पत्थरों की चार दीवारें 33 मी० वर्ग की अनावृत की गई थीं, जो मिट्टी के बने चबूतरे की रक्षा हेतु निमित की गई थी। इस चबूतरे पर हेलियोडोरस स्तंभ का समकालीन वायुदेव का मंदिर था। इस मंदिर के उत्तर की ओर अनगढ़ पत्थर की दीवार के समान्तर सात स्तम्भों के अवशेप प्राप्त हुये थे। सात स्तम्भों की इस पंक्ति के मध्यस्थ स्तम्भ के सम्मुख आठवां स्तम्भ था। हेलियोडोरस स्तंभ इस पंक्ति के एक कोने पर था।

 

इस स्थान से गरूड़ स्तम्भ-शीर्ष के अतिरिक्त, केल्प वृक्ष, मकर ताम्रपत्र, वेदिका आदि स्तम्भ शीर्ष भी एकत्र किये गये थे, जो उपर्युक्त स्तम्भों को सुशोभित करते रहे होंगे।

 

अनगढ़ पत्थर की दीवारों के नीचे तथा कोरी मिट्टी के ऊपर एक वृत्तायत मंदिर की नींव अनावृत की गई थी। इस मंदिर में वृत्तायत गर्भग्रह वृत्तायत प्रदक्षिणापथ, अंतराल व मंडप थे। ई० पूृ० चौथी-तृतीय शताब्दी का विष्णु मंदिर काष्ठ का बनाया गया था, जो बाढ़ग्रस्त हुआ। इस समय इस स्थल पर खामबाबा के अतिरिक्त केवल अनगढ़ पत्थरों की धारक दीवार ही हैं। शेष भाग बालू तथा अलकाथीन से ढक दिया गया है।

 

हेलियोडोरस स्तंभ पर उत्कीर्ण अभिलेख तथा अनुवाद

 

  • देव देवस वासुदेवस गरुड़ध्वजे अयं
  • कारिते इष्य हेलियो दरेण भाग
  • वर्तन दियस पुत्रेण नखसिला केन
  • योन दूतेन आगतेन महाराज स
  • अंतलिकितस उपता सकारु रजो
  • कासी पु (त्र) (भा) ग (भ) द्रस त्रातारस
  • वसेन (चतु) दसेन राजेन वधमानस।

 

अर्थात:– देवों के देव वासुदेव का यह गरुड़ध्वज, तक्षशिला से दियोन के पुत्र हेलिओडोरस, एक भागवत, के अनुरोध पर बनाया गया, जो अपनी इच्द्रियों को निरुद्ध कर चमददसेन के साथ यहां आया। कौत्सगोत्र के स्त्री पुत्र, वंश के राजा भागभद्र, रक्षक, यश में स्व वृद्धि होती है। महाराज अंताइककीद्स का दास मूछभूत तीन ग्रुणों की प्रतिज्ञा करता है, जिनका अनुकरण करने से अमरत्व, स्वनियन्त्रण, उदारता तथा विनम्रता प्राप्त होती है।

 

 

हमारे यह लेख भी जरूर पढ़े:—

 

सांची स्तूप
सांची स्तूप किसने बनवाया, इतिहास और महत्व
उदयेश्वर नीलकंठेश्वर मंदिर
उदयेश्वर नीलकंठेश्वर मंदिर विदिशा मध्य प्रदेश
विदिशा के दर्शनीय स्थल
विदिशा के पर्यटन स्थल - विदिशा के दर्शनीय स्थल
गडरमल मंदिर विदिशा
गडरमल मंदिर विदिशा - गड़रिया का बनाया हुआ मंदिर
लोहांगी पहाड़ी विदिशा
लोहांगी पहाड़ी विदिशा - लोहांगी पीर विदिशा
मांडू का इतिहास
मांडू का इतिहास इन हिन्दी - Mandu history in hindi
नवादा टोली आर्कियोलॉजिकल साइट
नवादा टोली आर्कियोलॉजिकल साइट मध्य प्रदेश
धार के दर्शनीय स्थल
धार का इतिहास और धार के दर्शनीय स्थल
चेदि राज्य का इतिहास
चेदि कहां है - चेदि राज्य का इतिहास
उज्जैन के दर्शनीय स्थल
उज्जैन का इतिहास और उज्जैन के दर्शनीय स्थल
माड़ा की गुफाएं
माड़ा गुफाएं सिंगरौली मध्य प्रदेश
चचाई जलप्रपात
चचाई जलप्रपात की ऊंचाई कितनी है
ग्यारसपुर अठखंम्भा मंदिर
ग्यारसपुर अठखंम्भा मंदिर और इतिहास
मांडू का किला
मांडू का किला किसने बनवाया था
बाघ की गुफाएं
बाघ की गुफाएं कहां स्थित है
पथरीगढ़ का किला
पथरीगढ़ का किला किसने बनवाया - पाथर कछार का किला का इतिहास इन हिन्दी
धमौनी का किला
धमौनी का किला किसने बनवाया - धमौनी का युद्ध कब हुआ और उसका इतिहास
बिजावर का किला
बिजावर का किला किसने बनवाया - बिजावर का इतिहास इन हिन्दी
बटियागढ़ का किला
बटियागढ़ का किला किसने बनवाया - बटियागढ़ का इतिहास इन हिन्दी
राजनगर का किला
राजनगर का किला किसने बनवाया - राजनगर मध्यप्रदेश का इतिहास इन हिन्दी
पन्ना का किला
पन्ना का इतिहास - पन्ना का किला - पन्ना के दर्शनीय स्थलों की जानकारी हिन्दी में
सिंगौरगढ़ का किला
सिंगौरगढ़ का किला किसने बनवाया - सिंगौरगढ़ का इतिहास इन हिन्दी
छतरपुर का किला
छतरपुर का किला हिस्ट्री इन हिन्दी - छतरपुर का इतिहास की जानकारी हिन्दी में
चंदेरी का किला
चंदेरी का किला किसने बनवाया - चंदेरी का इतिहास इन हिन्दी व दर्शनीय स्थल
ग्वालियर का किला
ग्वालियर का किला हिस्ट्री इन हिन्दी - ग्वालियर का इतिहास व दर्शनीय स्थल
बड़ौनी का किला
बड़ौनी का किला किसने बनवाया - बड़ौनी का इतिहास व दर्शनीय स्थल
दतिया महल या दतिया का किला
दतिया का इतिहास - दतिया महल या दतिया का किला किसने बनवाया था
गढ़कुंडार का किला
गढ़कुंडार का किला का इतिहास - गढ़कुंडार का किला किसने बनवाया
मनियागढ़ का किला
मनियागढ़ का किला - मनियागढ़ का किला किसने बनवाया था तथा कहाँ है
मंगलगढ़ का किला
मंगलगढ़ का किला किसने बनवाया था - मंगलगढ़ का इतिहास हिन्दी में
अजयगढ़ का किला
अजयगढ़ का किला किसने बनवाया था व उसका इतिहास अजयगढ़ की घाटी का प्राकृतिक सौंदर्य
ओरछा दर्शनीय स्थल के सुंदर दृश्य
ओरछा का किला - ओरछा दर्शनीय स्थल - ओरछा के टॉप 10 पर्यटन स्थल
अनुपपुर दर्शनीय स्थल के सुंदर दृश्य
अनूपपुर दर्शनीय स्थल - अमरकंटक के दर्शनीय स्थल
इंदौर पर्यटन स्थल के सुंदर दृश्य
इंदौर पर्यटन स्थल - इंदौर के टॉप 10 दर्शनीय स्थलो की रोचक जानकारी
ग्वालियर के पर्यटन स्थल के सुंदर दृश्य
ग्वालियर के पर्यटन स्थल - ग्वालियर का किला - ग्वालियर का चिडियाघर
जबलपुर पर्यटन स्थलो के सुंदर दृश्य
जबलपुर पर्यटन - जबलपुर के टॉप 5 पर्यटन स्थल
कान्हा नेशनल पार्क के सुंदर दृश्य
कान्हा नेशनल पार्क -जंगली जीव जंतुओ को करीब से देखने का रोमांच
एशिया की सबसे बडी मस्जिद
ताज उल मस्जिद भोपाल एशिया की सबसे बड़ी मस्जिद
ओंकारेश्वर दर्शन के सुंदर दृश्य
ओंकारेश्वर दर्शन - ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग खंडवा मध्य प्रदेश
उज्जैन महाकाल
उज्जैन महाकाल - उज्जैन का महाकालेश्वर मंदिर - अवंतिका तीर्थ में सप्तपुरी,
पचमढ़ी पर्यटन
Pachmarhi tourist place - पचमढ़ी मध्य प्रदेश का एकमात्र हिल्स स्टेशन
खजुराहो मंदिर
खजुराहो का मंदिर (कामुक कलाकृति) kamuk klakirti khujraho
भारत के पर्यटन स्थल ऐतिहासिक धरोहरेंमध्य प्रदेश पर्यटन

Post navigation

Previous post
Next post

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Trending Posts

  • हरछठ का त्यौहार
    हरछठ का व्रत कैसे करते है – हरछठ में क्या खाया जाता है – हलषष्ठी व्रत कथा हिंदी
    August 20, 2021
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • ख्वाजा गरीब नवाज दरगाह व मजार
    ख्वाजा गरीब नवाज का इतिहास – हजरत मोईनुद्दीन चिश्ती हिस्ट्री इन हिन्दी
    March 21, 2018
    By Naeem Ahmad | 38 Comments
  • कर्नाटक का पहनावा स्त्री और परूष
    कर्नाटक का पहनावा – कर्नाटक की वेशभूषा
    April 28, 2018
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • सिरसागढ़ का किला
    सिरसागढ़ का किला – बहादुर मलखान सिंह का किला व इतिहास हिन्दी में
    July 7, 2021
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • मोहम्मद गौरी की मृत्यु
    मोहम्मद गौरी की मृत्यु कब हुई थी – मोहम्मद गौरी को किसने मारा था
    March 24, 2022
    By Naeem Ahmad | 3 Comments
  • कर्नाटक के त्योहार के सुंदर दृश्य
    कर्नाटक के त्योहार – karnataka festival in hindi
    April 26, 2018
    By Naeem Ahmad | 1 Comment
  • गोगामेड़ी धाम के सुंदर दृश्य
    गोगामेड़ी का इतिहास, गोगामेड़ी मेला, गोगामेड़ी जाहर पीर बाबा
    September 20, 2019
    By Naeem Ahmad | 2 Comments
  • तारापीठ तीर्थ के सुंदर दृश्य
    तारापीठ मंदिर का इतिहास – तारापीठ का श्मशान – वामाखेपा की पूरी कहानी
    February 25, 2019
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • मदार साहब का चिल्ला
    मदार साहब की दरगाह – मदार साहब का इतिहास
    August 27, 2022
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • जाटों की उत्पत्ति
    जाटों की उत्पत्ति कैसे हुई – जाटों का प्राचीन इतिहास
    December 20, 2022
    By Naeem Ahmad | 0 Comments
  • About Us
  • Contact
  • Newsletter
  • Privacy policy
  • Submit a post
  • तीर्थ यात्रा का महत्व
  • भारत का परिचय
  • Uncategorized
  • दुनिया के अद्भुत अनसुलझे रहस्य
  • दुनिया के प्रसिद्ध आश्चर्य
  • प्राचीन काल की नारी
  • भारत की प्रमुख झीलें
  • भारत की प्रमुख रियासतें
  • भारत की प्रमुख वाटरफॉल
  • भारत की महान नारियां
  • भारत के पर्यटन स्थल
  • भारत के प्रमुख त्यौहार
  • भारत के प्रमुख धार्मिक स्थल
  • भारत के प्रमुख युद्ध
  • भारत के प्रमुख संत
  • भारत के महान खिलाड़ी
  • भारत के महान पुरूष
  • भारत के वन्य जीव उद्यान
  • भारत के स्वतंत्रता सेनानी
  • भारत के हिल्स स्टेशन
  • विश्व की महत्वपूर्ण खोजें
  • विश्व के प्रमुख आविष्कार
  • विश्व प्रसिद्ध जन क्रांति
  • विश्व प्रसिद्ध युद्ध
  • विश्व प्रसिद्ध वैज्ञानिक
  • सिखों के दस गुरु

Hill station near dehli अनसुलझे रहस्य आदिवासी जनजातीयां उत्तर प्रदेश के जिले उत्तर प्रदेश के त्योहार उत्तर प्रदेश के मेले उत्तर प्रदेश तीर्थ स्थल उत्तर प्रदेश पर्यटन उत्तराखंड पर्यटन ऐतिहासिक गुरूद्वारे ऐतिहासिक धरोहरें कर्नाटक के ऐतिहासिक स्थल कर्नाटक के पर्यटन स्थल कर्नाटक पर्यटन कर्नाटक हिल्स स्टेशन केरल के पर्यटन स्थल केरल के हिल स्टेशन केरल पर्यटन खेल जगत गुजरात के पर्यटन स्थल गुजरात दर्शन गुजरात पर्यटन गुजरात भ्रमण गुजरात यात्रा गुरूद्वारे इन हिन्दी जयपुर के दर्शनीय स्थल जयपुर पर्यटन जयपुर पर्यटन स्थल जीवनी जैन तीर्थ स्थल जोधपुर का राजवंश टॉप हनीमून पलैस तमिलनाडु के मंदिर तमिलनाडु तीर्थ तमिलनाडु दर्शन तमिलनाडु पर्यटन तीर्थ तीर्थ स्थल त्यौहार दिल्ली पर्यटन द्वादश ज्योतिर्लिंग पंजाब की सैर पंजाब टूरिस्ट पैलेस पंजाब दर्शन पंजाब यात्रा पंश्चिम बंगाल के दर्शनीय स्थल पश्चिम बंगाल टूरिस्ट पैलेस पश्चिम बंगाल पर्यटन प्रमुख खोजें बायोग्राफी बीच डेस्टिनेशन बुंदेलखंड के किले भारत की प्रमुख दरगाह भारत की प्रमुख लड़ाईयां भारत के इतिहास की वीर नारियां भारत के धार्मिक स्थल भारत के प्रमुख गुरूद्वारे भारत के प्रमुख देशी राज्य भारत के प्रमुख मंदिर भारत के प्रसिद्ध शिव मंदिर भारत में शिव के प्रधान मंदिर भारतीय क्रिकेट टीम के महान खिलाड़ी मणिपुर पर्यटन मध्य प्रदेश पर्यटन महाराष्ट्र के दर्शनीय स्थल महाराष्ट्र के पर्यटन स्थल महाराष्ट्र के मंदिर महाराष्ट्र दर्शन महाराष्ट्र पर्यटन महाराष्ट्र यात्रा मेले राजपूत शासक राजस्थान ऐतिहासिक इमारतें राजस्थान के प्रसिद्ध मेलें राजस्थान के लोक तीर्थ राजस्थान के वीर सपूत राजस्थान के शासक राजस्थान धार्मिक स्थल राजस्थान पर्यटन राठौड़ राजवंश लखनऊ के नवाब लखनऊ पर्यटन वर्ड फेमस वार विश्व की प्रमुख क्रांतियां विश्व प्रसिद्ध अजुबे सहासी नारी स्वादिष्ट व्यंजन हनीमून की जगह हनीमून डेस्टिनेशन हनीमून प्वाइंट इन इंडिया हनीमून स्थल भारत हमारे प्रमुख व्रत हरियाणा तीर्थ स्थल हरियाणा पर्यटन हिन्दू धर्म के प्रमुख व्रत हिन्दू धर्म के प्रमुख संत हिमाचल टूरिस्ट पैलेस हिमाचल पर्यटन हिल स्टेशन हिस्ट्री

©2023 Alvitrips – Tourism, History and Biography | WordPress Theme by SuperbThemes