ट्रॉय का युद्ध कब हुआ था – ट्रॉय युद्ध के कारण और परिणाम Naeem Ahmad, May 4, 2022February 28, 2023 1870 में जर्मन पुरातत्ववेत्ता (Archaeology) हेनरिक श्लिमैन (Henrich Schliemann) ने पहली बार सिद्ध किया कि टॉय का युद्ध यूनानी कवि होमर (Hommer) की कल्पना नहीं बल्कि एक वास्तविक घटना है। यह युद्ध तब हुआ जब स्पार्टा के राजा मेनेलाउस की पत्नी हेलेन को ट्रॉय के राजा प्रियम का बेटा पेरिस अपने यहां उठा ले गया। यूनानियों ने इसका बदला लेने के लिए ट्रॉय पर आक्रमण कर दिया। दस वर्षों तक युद्ध चलता रहा। बड़ी चतुराई से लकड़ी के घोड़े में छुपकर कुछ यूनानी सैनिक ट्रॉय के किले के अंदर जा पहुंचे और रात के समय उन्होंने किले का फाटक खोल दिया। ट्रॉय पराजित हो कर नष्ट हो गया। अपने इस लेख में हम इसी ट्रॉय युद्ध का उल्लेख करेंगे और निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर विस्तार से जानेंगे:— ट्रॉय का युद्ध कब हुआ था? ट्रॉय का युद्ध क्यों हुआ था? ट्रॉय के युद्ध के कारण और परिणाम? ट्रॉय के युद्ध में किसकी जीत हुई थी? हेक्टर ऑफ ट्रॉय? ट्रॉय नगर की पुष्टि कैसे हुई? ट्रॉय युद्ध का स्थानट्रॉय को शताब्दियो तक विद्वान पौराणिक और काल्पनिक नगर मानते रहे। उनके मतानुसार ट्रॉय नामक कोई नगर कभी था ही नहीं और यूनानी कवी होमर ने अपने महाकाव्य ‘इलियड’ में ट्रॉय के संदर्भ मे इस नगर का उल्लेख किया है जो उनकी कल्पना की उपज है। किन्तु 19वी शताब्दी के प्रसिद्ध पुरातत्ववेता हेनरिक श्लिमैन के निरंतर अनुसंधान तथा खुदाई के फलस्वरूप इस नगर के अवशेष मिल गये हैं। इन अवशेषों ने इस तथ्य को सुदृढ़ बनाया है कि ट्रॉय कोई काल्पनिक तथा पौराणिक नगर नही था वल्कि आज से लगभग 5,000 वर्ष पूर्व इसका अस्तित्व जरूर था, जहां लगभग 1190 ई.पू. में ट्रॉय का युद्ध हुआ। ट्रॉय युद्ध का प्रारम्भ और कारणट्रॉय का युद्ध एक नारी के कारण लड़ा गया। एक बार तीन देवियो (Goddess) के बीच सौन्दर्य-प्रतियोगिता हुई। कौन सर्वश्रेष्ठ सुन्दरी है, इसका निर्णय ट्रॉय के राजा प्रियम (Priam) के पुत्र पेरिस (Paris) पर छोड़ दिया गया। देवियों में से एक को सर्वश्रेष्ठ घोषित किया गया। परिणामस्वरूप प्रसन्न होकर उसने पेरिस को संसार की सर्वश्रेष्ठ सुन्दरी प्रदान करने का वादा किया। इसके लिए स्पार्टा के राजा मेनेलाउस (Menelaus) की रानी हेलेन को प्राप्त करने के लिए पड॒यंत्र रचा गया। अन्ततः पेरिस हेलेन का अपहरण कर उसे ट्रॉय ले आया। हेलेन भी पेरिस की सुन्दरता देखकर मुग्ध हो गयी किन्तु वह विवाहिता थी। ट्रॉय का युद्ध यूनानवासी इस अपमान को सह न सके और उन्होने ट्रॉय पर आक्रमण दिया। यूनानी सेना 10 वर्ष तक ट्रॉय नगर का घेरा डालकर युद्ध करती रही ट्रॉय की अभेद्य दीवारों को लांघ कर नगर में प्रवेश न कर सकी। अन्त मे सेनापति ओडिसियस को एक चाल सूझी। उसके सुझाव के अनुसार लकड़ी का बहुत खोखला घोड़ा तैयार किया गया, जिसमें 100 योद्धा खड़े हो सकते थे। उस नकली घोड़े को नगर के द्वार पर छोड़ कर यूनानी सेनिक कुछ पीछे हटकर छिप गये। ओडिसियस की चाल सफल हुईं ट्रॉय वासियों ने सोचा कि शत्रु उनके लिएउपहार स्वरूप यह शानदार घोड़ा छोड़ कर भाग गये हैं। इसलिए वे उसे किले मे ले गये। उसके भीतर छुपे योद्धाओं ने ट्रॉय पर अकस्मात आक्रमण कर दिया। दोनो सेनाओ में भीषण युद्ध छिड़ गया। तब योद्धाओ में परस्पर द्वंद्व-युद्ध होता था। इसी प्रणाली के अनुसार यूनान के सबसे योग्य योद्धा एकिलीस ने ट्रॉय के प्रख्यातं वीर हेक्टर को द्वंद्व युद्ध के लिए चुनौती दी। चुनौती सुनते ही वृद्ध प्रियम ने अपने बेटे हेक्टर को उकसाते हुए कहा- आज मे ट्रोजनो में कई वीरो को नही देख रहा हूं। में अपने दो पूत्रों को गवा चुका हूं। न जाने वे कहा हैं? यदि वे युद्ध में मारे गये हैं तो मेरी ओर उनकी मां की आत्मा सदा दुखी रहेगी। यही वह एकिलीस है, जो हमारे दुःखों का कारण है। अतएव मैदान में आकर ट्रॉय के स्त्री-पुरुषों की रक्षा करो, मेरे बेटे! इधर, एकिलीस अपने मित्र पेट्रोकलस वी मौत का बदला लेना चाहता था, जिसे हेक्टर ने मार डाला था। दोनों में घमासान युद्ध हुआ। एकिलीस ने हेक्टर को घायल कर दिया था किन्तु हेक्टर को भी बिना लड़े मृत्यु प्रिय नही थी। हेक्टर नें तलवार निकाली ओर बिजली की भांति एकिलीस पर झपटा। एकिलीस सीधे हाथ में भाला लेकर आगे बढ़ा ओर हेक्टर के गले को निशाना बनाया। इस बार निशाना बिलकुल ठीक बैठा। युवा हेक्टर जमीन पर गिर पड़ा और सिर पटक-पटक कर आखें बंद कर ली। ट्रोजन जिसे देवता की तरह पूजने लगे थे, वह नही रहा। मृत हेक्टर के शरीर को एकिलीस ने रथ के पीछे बाधा और रथ को तेजी से दौडा दिया। जमीन पर घिसटता हुआ हेक्टर का चेहरा लहूलुहान हो गया। ट्रॉय वासियों से यह वीभत्स दृश्य न देखा गया। बूढी मां फूट-फूट कर रोने लगी। पिता दर्द से कराह उठा। संपूर्ण ट्रॉय शौक में डूब गया। अन्त मे यूनानी वीरो ने ट्रॉय पर अधिकार कर लिया। एक भयानक अन्त के साथ युद्ध समाप्त हुआ। ट्रॉय युद्ध का परिणाम इतिहास ऐसे ही असंख्य युद्धों से भरा है, जिनमे नारी के कारण विस्फोट व टकराव की स्थितिया पैदा हुईं और सत्ता को या तो हथिया लिया गया अथवा उसका समल नाश कर दिया गया। ट्रॉय के इस युद्ध का परिणाम भी वही हुआ। पेरिस, हेक्टर के साथ साथ एकिलीस जैसे बहादुर सैनिक मारे गये। हमारे यह लेख भी जरूर पढ़े:— [post_grid id=”8837″]Share this:ShareClick to share on Facebook (Opens in new window)Click to share on X (Opens in new window)Click to print (Opens in new window)Click to email a link to a friend (Opens in new window)Click to share on LinkedIn (Opens in new window)Click to share on Reddit (Opens in new window)Click to share on Tumblr (Opens in new window)Click to share on Pinterest (Opens in new window)Click to share on Pocket (Opens in new window)Click to share on Telegram (Opens in new window)Like this:Like Loading... विश्व प्रसिद्ध युद्ध वर्ड फेमस वार