गणतंत्र दिवस परेड Naeem Ahmad, January 25, 2017May 26, 2022 गणतंत्र दिवस भारत का एक राष्ट्रीय पर्व जो प्रति वर्ष 26 जनवरी को मनाया जाता है । अगर पर्यटन की नज़र से देखें तो यह भी एक बहतरीन व्यू प्वाइंट हैं । इस दिन देश विदेश के कोने कोने से हजारों पर्यटक इस भव्य समारोह की परेड़ देखने भारत की राजधानी दिल्ली पहुँचते है । यू तो यह समारोह हर राज्य की राजधानी में मनाया जाता है तथा छोटे- छोटे स्तर पर प्रत्येक स्कूल व सरकारी दफ्तरों में भी मनाया जाता है । किन्तु देश की राजधानी दिल्ली में आयोजित इस समारोह की बात ही कुछ अलग है । गणतंत्र दिवस इतिहास एक स्वतंत्र गणराज्य बनने और देश में कानून का राज स्थापित करने के लिए 26 नवम्बर 1949 को भारतीय संविधान सभा द्वारा इस संविधान को अपनाया गया और 26 जनवरी 1950 को इसे एक लोकतांत्रिक सरकार प्रणाली के साथ लागू किया गया था । 26 जनवरी को इसलिए चुना गया था क्योंकि 1930 में इसी दिन भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ( आई ० एन० सी) ने भारत को पूर्ण स्वराज घोषित किया था । यह भारत के तीन राष्ट्रीय अवकाश में से एक है । अन्य दो स्वतंत्रता दिवस और गांधी जयंती है । सन् 1929 के दिसम्बर में लाहौर में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का अधिवेशन पंडित जवाहरलाल नहरू की अध्यक्षता में हुआ जिसमें प्रस्ताव पारित कर इस बात की घोषणा की गई कि यदि अंग्रेज सरकार 26 जनवरी 1930 तक भारत को स्वायत्तयो निवेश ( डोमीनियन) का पद प्रदान नहीं करेगी । जिसके तहत भारत ब्रिटिश समराज्य में ही स्वशासित इकाई बन जाता , तो भारत अपने को पूर्णतः स्वतंत्र घोषित कर देगा । 26 जनवरी1930 तक जब अंग्रेज सरकार ने कुछ नही किया तब कांग्रेस ने उस दिन भारत की पूर्ण स्वतंत्रता के निश्चय की घोषणा की और अपना सक्रिय आंदोलन आरम्भ किया । उस दिन 1947में स्वतंत्रता प्राप्त होने तक 26 जनवरी स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाता रहा और वह आंदोलन लगातार चलता रहा । लाखों बलिदान हुए तब जाकर 15 अगस्त 1947 को भारत को स्वतंत्रता प्राप्त हुई और 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस के रूप में स्वीकार किया गया । 26 जनवरी का महत्व बनाएं रखने के लिए संविधान निर्मात्री सभा ( कांस्टीटयूएट असेंबली ) द्वारा स्वीकृत संविधान में भारत के गणतंत्र स्वरूप को मान्यता प्रदान की गई। दिल्ली लाल किले का इतिहास राजधानी में गणतंत्र दिवस को मनाने के लिए पहले से ही भारतीय सरकार द्वारा अच्छे प्रयास के साथ कार्यक्रम और उत्सव आयोजित किया जाता है । राज्यों की राजधानी के साथ ही नई दिल्ली के राजपथ पर एक बड़ा और भव्य परेड़ का आयोजन किया जाता है । गणतंत्र दिवस परेड़ में पारंपरिक डांस समूह जो देश के राज्यों से आते है तथा अपने राज्य की संस्कृति संगीत को प्रदर्शित करते हुए दर्शकों का मन मोह लेतें है । वायु सेना के जाबांज जंगी जहाजो के बेहतरीन और अचंभित करतब भी दर्शकों को दांतों तले उँगलियाँ दबाने पर मजबूर कर देतें है । व ही थल सेना व जल सेना भी अपनी शक्ति का भरपूर प्रदर्शन करते हुए पर्यटकों का उतसाह बनाएं रखती है । नई दिल्ली में रखा गया परेड़ खासतौर से शुरुआत किया जाता है जब इंडिया गेट के अमर ज्योति जवान पर भारतीय प्रधानमंत्री द्वारा पुष्प माला भेंट की जाती है । अपने देश की रक्षा करते हुए भारतीय सेना के सभी सैनिकों के बलिदानो को याद करने के लिए ऐसा किया जाता है । राजधानी में परेड़ के दौरान भारतीय राष्ट्रपति द्वारा सेना की सलामी ली जाती है जबकि राज्यों में राज्यपाल द्वारा सेना की सलामी ली जाती है । इस खास अवसर पर राज्य के प्रमुख राष्ट्रपति के मुख्य अतिथि बनते है । सशस्त्र बलो के सैनिकों आमजन और स्कूलों के विधार्थियों को इस खास दिन पर राष्ट्रीय पुरस्कार ( महावीर चक्र, अशोक चक्र, परमवीर चक्र, वीर चक्र ) और बहादुरी मेडल भी वितरित किये जाते है । दर्शकों पर गुलाब की पंखुड़ियों की बरसात के लिये इंडिया गेट के आसपास के क्षेत्रों में सेना बलो के हेलीकॉप्टर परेड़ करते है । स्कूलों के बच्चों द्वारा देशभक्ति गीतों पर रंगारंग डांस परेड के द्वारा प्रस्तुति भी की जाती है । राष्ट्रपति को सम्मानित सलामी देने के लिए सैन्य बलो द्वारा मोटरसाइकिलों पर करतब दिखाये जिते है जबकि फाइटर प्लेन धुएं द्वारा भारतीय झंडे के तीन रंग बनाती है जो बहुत ही रोमांचक दृश्य होता है । गणतंत्र दिवस परेड देश के इतिहास ओर संस्कृति पर हमारा ध्यान आकर्षण करने के लिए विभिन्न राज्यों द्वारा पेशेवरों द्वारा विभिन्न पारंपरिक और संस्कृ तिक कार्यक्रमो की प्रस्तुती दी जाती है । इस दिन सभी सरकारी और गैरसरकारी कार्यालय बन्द रहते है बड़ी भीड़ के कारण इस दिन खास सुरक्षा व्यवस्था रहती है जो किसी भी समस्या से आमजन की रक्षा करती है टिकट कैसे और कहा से खरीदें दोनों तरह से अॉनलाइन और अॉफलाइन टिकट खरीदने की सुविधा है । दिल्ली से बाहर के लोग टिकट खरीदने के लिए अॉनलाइन आवेदन कर सकते है । किसी को भी गणतंत्र दिवस की परेड़ की टिकट प्राप्त करने के लिए अपना वैध पहचान पत्र दिखाने की आवश्यकता होतीं है । टिकट खरीदने के दौरान धोखाधड़ी की गतिविधियों को रोकने के लिए विशेष रूप से 2016 में भारत की सरकार ने अॉफलाइन टिकट पाने के लिए सरकारी फोटो पहचान पत्र को आवश्यक बना दिया है जबकि अॉनलाइन टिकट प्राप्त करने के लिए किसी भी पात्र को ई-कार्ड का आई डी नम्बर भरने की जरूरत है जैसे:- पासपोर्ट, डी एल , पैनकार्ड, वोटर आईडी कार्ड, आधार कार्ड और छात्र आई डी कार्ड के रूप में । 2016 की गणतंत्र दिवस परेड़ की टिकट का मूल्य इस प्रकार था भारतीय नागरिकों के लिए अॉनलाइन टिकट 350 तथा अॉफलाइन टिकट 300 रूपये छात्रों के लिए दोनों तरीकों से टिकट मूल्य 50 रूपये है उपायुक्त पात्रों के लिए अनारक्षित टिकट मूल्य 150 रूपये छात्रों के लिए अनारक्षित टिकट मूल्य 10 रूपये अनारक्षित बीटिंग स्िटर्िट समारोह में सीटों के लिए टिकट मूल्य 50 और 20 रूपये है। Uncategorized