ऊटी के पर्यटन स्थल – ऊटी के दर्शनीय स्थलो की सूची – ऊटी टूरिस्ट प्लेस Naeem Ahmad, September 16, 2017February 24, 2023 प्रिय पाठको पिछली पोस्ट मे हमने लेह लद्दाख की वादियो की खुबसूरत यात्रा की थी। और वहा के बारे में विस्तार से जाना था। अपनी इस पोस्ट मे हम भारत के खुबसूरत राज्य तमिलनाडु के खूबसूरत हिल्स स्टेशन ऊटी के पर्यटन स्थल, संस्कृतियों प्राकृतिक सुंदरता की व्याखया करेगे। अपनी इस पोस्ट मे हम जानेगें की ऊटी के दर्शनीय स्थल की जानकारी, ऊटी का इतिहास, ऊटी पर्यटन और मनोरंजन, ऊटी का सांस्कृतिक इतिहास, टूरिस्ट पैलेस नियर ऊटी, ऊटी का तापमान, ऊटी का मौसम आदि सभी जानकारी आपको हमारी इस पोस्ट मे मिल जायेगी ऊटी नीलगिरी पर्वत माला की आगोस मे बसा एक सुंदर हिल्स स्टेशन है। ऊटी को स्थानीय भाषा में उदगमंडलम भी कहा जाता है। ऊटी की स्थानीय भाषा तमिल है। इसके अलावा यहां अंग्रेजी और हिन्दी भी बोली व समझी जाती है। ऊटी समुंदर तल से लगभग 2240 मीटर की ऊचाई पर बसा एक खुबसूरत शहर है। पहाडो की ऊचाईयो पर बसा होने के कारण गर्मियो में भी ऊटी का तापमान 25° डिग्री सैल्सियस से ज्यादा नही होता। यहा की सुंदरता के दिवानो की लिस्ट मे भारतीय ही नही विदेशी पर्यटको की भी अच्छी खासी संख्या मौजूद है। साल भर यहा पर देशी और विदेशी पर्यटको का जमावडा रहता है। यहां के खुबसूरत प्राकृतिक नजारे, सिढीनुमा हरे भरे चाय के बागान किसी को भी सम्मोहित करने के लिए काफी है। मधुर संगीत की तरह कल कल करते झरने नदिया, शांत वातावरण वाले घने जंगल, दूर दूर तक फैली हरी भरी पहाडी चोटिया सैलानियो को खूब लुभाती है। Contents1 ऊटी के पर्यटन स्थल2 ऊटी के पर्यटन स्थल – पर्यटन स्थल नियर ऊटी – ऊटी के निकटतम पर्यटन स्थल2.0.0.0.1 ऊटी कैसे पहुंचे3 हमारे यह लेख भी जरूर पढ़े:– ऊटी के पर्यटन स्थल ऊटी की झील यह एक कृत्रिम झील है। इसे देखना अपने आप में एक अनोखा और सुखद अनुभव है। झील को चारो ओर से रंग बिरंगें फूलो की क्यारियो से सजाया गया है। जो इसकी सुंदरता में चार चांद लगाते है। इस कृत्रिम झील में सैलानियो के मनोरंजन के लिए बोटिगं की भी व्यवस्था की गई है। यहां पर आप अपनी सुविधा के अनुसार मोटर बोट, पैडल बोट तथा रो बोटस मे बोटिंग का आनंद उठा सकते है। यहां पर्यटको के रूकने के लिए हाउस बोट की भी सुविधाएं है। जहा ठहर कर आप झील के रात्रि के सुंदर दृश्य देख सकते है। इस झील को ऊटी का मनोरंजन हब भी कहा जाने लगा है। क्योकि पिछले कुछ सालो में में यहा पर्यटक मनोरंजन की दृष्टि से काफी संख्या मे आते है। यहा पर बच्चो के मनोरंजन की भी अच्छी व्यवस्था है। झील के पूर्वी किनारे पर बच्चो का पार्क बना है। जिसमे बच्चो के मनोरंजन के सभी संसाधन मौजूद है। खाने पीने के लिए यहा पर स्नैक बार भी है। ऊटी के सुंदर दृश्य लेह लद्दाख की यात्रायात्रा डलहौजी के पर्यटन स्थल डोड्डाबेट्टा यह स्थान ऊटी से लगभग 8 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यह नीलगिरी पर्वत माला की सबसे ऊंची चोटी है। इस चोटी की ऊचाई लगभग 2636 मीटर है जहा से पूरे इलाके का खुबसूरत नजारा देखा जा सकता है। यहां तक कि कोयंबटूर और मैसूर शहर का नाजारा भी यहा से दिखाई पडता है। नीलगिरी टॉय ट्रेन विश्व प्रसिद्ध नीलगिरी टॉय ट्रेन यहा का मुख्य आकर्षण का केन्द्र है। यह ट्रेन ऊटी से 46 किलोमीटर दूर मेटूपलायम की दूरी को 4-5 घंटो में पूरा करती है। इस ट्रेन के मार्ग मे आने वाली 16 सुरंगो से यह ट्रेन होकर गुजरती जिससे यात्रा का रोमांच दुगना हो जाता है। घुमावदार पहाडी पर चलती टॉय ट्रेन से प्रकृति के खुबसूरत नजारे इस सफर को एक यादगार सफर बना देते है। वनस्पति उद्यान ऊटी इस उद्यान का निर्माण 1847 मे किया गया था यह उधगमंडलम में स्थित है। जिसमे कई छोटे छोटे हिस्सो मे बटे बाग है। जो कुल मिलाकर 22 हेक्टेयर के क्षेत्रफल मे फैले है जो डोड्डाबेट्टा चोटी के निचली ढलानों पर बनाए गए है। जो ऊटी के पर्यटन स्थल मे काफी प्रसिद्ध है। कालहट्टी झरना ऊटी के पर्यटन स्थल, कालहट्टी झरना ऊटी से लगभग 14 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यहां 100 फुट की ऊचाई से पानी गिरता है। पिकनिक और ट्रैकिंग के लिए यह एक उपयुक्त जगह है। यहां पर अनेक प्रकार के पर्वतीय पक्षी भी देखे जा सकते है। ऊटी के सुंदर दृश्य ऊटी के चर्च ऊटी मे अनेक चर्च है। जिनमे से मुख्य है सन् 1829 मे निर्मित नीलगिरी का सबसे प्राचीन चर्च सेंट स्टीफंस, इसके विशाल लकडी के स्तम्भ टीपू सुल्तान के महल से आए थे। इसके अलावा यहां पर कैंडल चर्च का भी काफी महत्व है और ऊटी के पर्यटन स्थल और पर्यटन क्षेत्र मे काफी प्रसिद्ध है। कहा जाता है कि कैंडल चर्च मे उस क्रास के अवशेष सुरक्षित है जिस पर जीसस क्राइस्ट को सूली पर चढाया गया था। इस चर्च मे एक विशाल क्लाक टावर भी है। डॉलफिन नोज यह ऊटी के पर्यटन स्थल मे महत्वपूर्ण है। यह डॉलफिन मछली के नाक के आकार वाली एक विशाल चट्टान है। यह स्थान रोचक व रोमांच पैदा करने वाला है। यहां से पूरी घाटी का सुंदर दृश्य दिखाई देता है। अगर आपकी किस्मत अच्छी है और मौसम साफ हो तो यहा से कोटागिरी के कैथरज फाल का नजारा भी देखा जा सकता है। यहां बच्चो के साथ आप आउट डोर पिकनिक का भरपूर आनंद उठा सकते है। ऊटी के पर्यटन स्थल – पर्यटन स्थल नियर ऊटी – ऊटी के निकटतम पर्यटन स्थल कोटागिरी हिल्स ऊटी से लगभग 28 किलोमीटर की दूरी पर स्थित कोटागिरी हिल्स अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए जाना जाता है। यहां के दूर दूर तक फैले चाय के बागानो को देखने पर्यटक यहा जरूर आते है। इसके अलावा आप कोटागिरी से आगे तथा ऊटी से 67 किलोमीटर की दूरी पर वाइल्ड लाइफ सेंक्चुअरी है। यहां पर दुर्लभ प्रजातियों के पशुओ को देखा जा सकता है। कुन्नुर ऊटी से लगभग 30 किलोमीटर की दूरी पर कुन्नुर एक खुबसूरत व शांत हिल्स स्टेशन है। चाय की हरी झाडियो, कल कल करते झरने, पक्षियो की मधूर वाणी, और कोहरे की चादर ओढे किन्नुर पर्यटको को खूब आकर्षित करता है। किन्नुर मे नीलगिरी के वन मे घूमना यहा के चाय व कॉफी के बागीचो की हरीयाली तथा सेंट कैथरीन फॉल की शोभा मन को मोहित कर देती है। कुन्नुर के मुख्य आकर्षण मे सीमस पार्क ( बोटेनिकल गार्डन) काफी प्रसिद्ध है। यहां लगभग 1000 प्रजातियों के पेड पौधे पाये जाते है। यहां लगभग 300 प्रकार के गुलाब के फूल भी देखने को मिलते है। इस पार्क का निर्माण 1874 मे किया गया था। ऊटी कैसे पहुंचे हवाई मार्ग ऊटी से निकटतम हवाई अड्डा कोयंबटूर है। जो लगभग ऊटी से 100 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यह हवाई अड्डा चेन्नई, मुम्बई और बेंगलूरू से जुडा है। कोयंबटूर से टैक्सी या बस द्धारा ऊटी पहुचा जा सकता है। रेल मार्ग मेट्टूपलायम से कुन्नुर होते हुए ट्रेन से भी यहां पहुचा जा सकता है। सडक मार्ग ऊटी सडक मार्गो से भलिभांति जुडा है। इसीलिए बस टैक्सी या कार द्धारा भी यहा आसानी से पहुँचा जा सकता है। यहां लोकल सिटी बस टैक्सी और आटो रिक्सा की भी अच्छी सेवा है। हमारे यह लेख भी जरूर पढ़े:– नागपुर का इतिहास और टॉप 10 दर्शनीय स्थल नागपुर जो ओरेंज सिटी के नाम से प्रसिद्ध है, महाराष्ट्र राज्य का तीसरा सबसे बड़ा शहर है। देश के भौगोलिक केंद्र दौलताबाद का किला – दौलताबाद का इतिहास दौलताबाद यह स्थान महाराष्ट्र राज्य के औरंगाबाद के निकट है। पहले इसे देवगिरि के नाम से जाना जाता था। दौलताबाद एक कल्याणी नगर का इतिहास और अगा खान पैलेस कल्याणी नगर पूणे महाराष्ट्र में नर्मदा नदी के दक्षिण में है। यह नगर एक ऐतिहासिक नगर है। समुंद्री किनारे पर होने कन्हेरी गुफाएं क्यों प्रसिद्ध है तथा कितनी है कन्हेरी गुफाएं यह स्थान महाराष्ट्र राज्य में मुंबई के निकट बोरीवली से आठ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। कन्हेरी की एलिफेंटा की गुफाएं किसने बनवाई और कहां स्थित है ऐलीफेंटा महाराष्ट्र राज्य की राजधानी मुंबई के निकट अरब सागर में एक छोटा सा टापू है। यह टापू यहां स्थित एलिफेंटा पंचगनी हिल स्टेशन – पंचगनी टॉप पर्यटन स्थल इन हिन्दी पंचगनी महाबलेश्वर से 18 किमी की दूरी पर, और सातारा से 48 किमी की दूरी पर स्थित है। पंचगनी को सातारा पर्यटन स्थल – सातारा के टॉप 8 दर्शनीय स्थल सातारा, पंचगनी से 48 किमी की दूरी पर, महाबलेश्वर से 54 किमी, पुणे से 129 किमी कि दूरी पर स्थित अलीबाग पर्यटन स्थल – अलीबाग समुद्र तट – Alibaug top 15 tourist place लोनावाला से 75 किमी की दूरी पर, मुंबई से 102 किमी, पुणे से 143 किमी, महाबलेश्वर से 170 किमी और रत्नागिरी पर्यटन स्थल – रत्नागिरी के टॉप 15 दर्शनीय स्थल महाराष्ट्र राज्य की राजधानी मुंबई से 350 किमी दूर, रत्नागिरी एक बंदरगाह शहर है, और महाराष्ट्र के दक्षिण पश्चिम भाग नासिक के दर्शनीय स्थल – नासिक के टॉप 20 पर्यटन स्थल भारत के महाराष्ट्र राज्य की राजधानी मुंबई से 182 किमी दूर , नासिक एक धार्मिक शहर है, जो भारत के अहमदनगर पर्यटन स्थल – अहमदनगर के टॉप 10 दर्शनीय स्थल अहमदनगर भारतीय राज्य महाराष्ट्र में एक जिला है। और अहमदनगर शहर जिले का मुख्यालय भी है। यह सिना नदी के अमरावती पर्यटन स्थल – अमरावती के टॉप दर्शनीय स्थल अमरावती महाराष्ट्र का ऐतिहासिक रूप से समृद्ध जिला है। मध्य भारत में दक्कन पठार पर स्थित, इस जिले ने ब्रिटिश सांगली का इतिहास और सांगली पर्यटन स्थलों की जानकारी हिन्दी में सांगली महाराष्ट्र राज्य का एक प्रमुख शहर और जिला मुख्यालय है। सांगली को भारत की हल्दी राजधानी भी कहा जाता गोंदिया का इतिहास – गोंदिया के पर्यटन स्थलों की जानकारी गोंदिया महाराष्ट्र राज्य का एक प्रमुख जिला, और प्रसिद्ध शहर है। यह जिला महाराष्ट्र राज्य की अंतिम सीमा पर छत्तीसगढ़ सोलापुर पर्यटन स्थल – सोलापुर के टॉप 6 दर्शनीय,ऐतिहासिक व धार्मिक स्थल सोलापुर महाराष्ट्र के दक्षिण-पूर्वी हिस्से में स्थित है और राजधानी मुंबई शहर से लगभग 450 किमी की दूरी पर स्थित कोहलापुर पर्यटन – कोहलापुर दर्शन – कोहलापुर टॉप 10 टूरिस्ट पैलेस कोल्हापुर शानदार मंदिरों की भूमि और महाराष्ट्र का धार्मिक गौरव है। सह्याद्री पर्वत श्रृंखलाओं की शांत तलहटी में स्थित कोहलापुर राजगढ़ का किला – rajgarh fort trek in hindi पुणे से 54 किमी की दूरी पर राजगढ़ का किला महाराष्ट्र के पुणे जिले में स्थित एक प्राचीन पहाड़ी किला पुणे के दर्शनीय स्थल – पुणे पर्यटन स्थल – पुणे के टॉप 15 आकर्षक स्थल प्रिय पाठको हमने अपनी महाराष्ट्र यात्रा के अंतर्गत अपने पिछले कुछ लेखो में महाराष्ट्र के अनेक प्रमुख पर्यटन स्थलो के घुश्मेश्वर नाथ धाम – घुश्मेश्वर नाथ मंदिर – घुश्मेश्वर ज्योर्तिलिंग शिवपुराण में वर्णित है कि भूतभावन भगवान शंकर प्राणियो के कल्याण के लिए तीर्थ स्थानो में लिंग रूप में वास औरंगाबाद पर्यटन स्थल – औरंगाबाद महाराष्ट्र पर्यटन- औरंगाबाद का इतिहास प्रिय पाठको अपनी पिछली अनेक पोस्टो में हमने महाराष्ट्र राज्य के अनेक पर्यटन स्थलो की जानकारी अपने पाठको को दी। मुंबई के पर्यटन स्थल – मुंबई के दर्शनीय स्थल प्रिय पाठको हम अपनी महाराष्ट्र टूरिस्ट यात्रा के दौरान महाराष्ट्र राज्य के कई प्रमुख पर्यटन स्थलो की सैर की ओर माथेरन के दर्शनीय स्थल – माथेरन के पर्यटन स्थल – महाराष्ट्र का हिल्स स्टेशन माथेरन प्रिय पाठको पिछली पोस्ट में हमने महाराष्ट्र के खुबसूरत हिल्स स्टेशन महाबलेश्वर की सैर की थी और उसके दर्शनीय स्थलो महाबलेश्वर के दर्शनीय स्थल – महाबलेश्वर व्यू प्वाईंट – महाराष्ट्र का प्रसिद्ध हिल्स स्टेशन महाराष्ट्र राज्य के प्रमुख हिल्स स्टेशन में महत्तवपूर्ण स्थान रखने वाला महाबलेश्वर अपनी प्राकृतिक सुंदरता के कारण विश्वभर में प्रसिद्ध है। कामशेत – पैराग्लाइडिंग के लिए प्रसिद्ध स्थल प्रिय पाठको पिछली पोस्ट मे हम ने महाराष्ट्र के प्रसिद्ध हिल्स स्टेशन खंडाला और लोनावाला की सैर की थी और खंडाला और लोनावाला महाराष्ट्र के प्रसिद्ध हिल्स स्टेशन व खुबसूरत पिकनिक स्पॉट खंडाला - लोनावाला मुम्बई - पूणे राजमार्ग के मोरघाट पर स्थित खुबसूरत पर्वतीय स्थल है। मुम्बई से पूना जाते समय भीमशंकर ज्योतिर्लिंग का महत्व -भीमशंकर मंदिर भारत देश मे अनेक मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। लेकिन उनमे 12 ज्योतिर्लिंग का महत्व ज्यादा है। माना जाता भारत के पर्यटन स्थल भारत के हिल्स स्टेशन तमिलनाडु के हिल स्टेशनतमिलनाडु पर्यटनहनीमून डेस्टिनेशनहिल स्टेशन